सिक्किम पूरी तरह ऑर्गेनिक राज्य , अन्य राज्य भी कर रहे पहल

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सिक्किम पूरी तरह ऑर्गेनिक राज्य , अन्य राज्य भी कर रहे पहल

सिक्किम देश में अन्न उगाने में सिर्फ जैविक तरीके अपनाने वाला पहला राज्य बन गया है

अरुण पाण्डेय

नई दिल्ली | 05 मई 2017

जनवरी 2016 में सिक्किम को पूरी तरह ऑर्गेनिक राज्य घोषित कर दिया गया | स्वयं प्रधान मंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने सिक्किम आर्गेनिक महोत्सव 2016 का उद्घाटन किया था और सिक्किम को 100 प्रतिशत बनाने के लिया सिक्किम के मुख्यमंत्री पवन चामलिंग की सरहाना की थी |प्रधान मंत्री ने “सिक्किम आर्गेनिक ” लोगो का विमोचन भी किया था |

मुख्यमंत्री पवन चामलिंग सिक्किम की राजधानी गंगटोक में लाल बाज़ार में पहला आर्गेनिक मार्किट का शुभारंम्भ करते हुए |

मुख्यमंत्री पवन चामलिंग सिक्किम की राजधानी गंगटोक में लाल बाज़ार में पहला आर्गेनिक मार्किट का शुभारंम्भ करते हुए |

ऑर्गेनिक राज्य का सिक्किम मॉडल

  • राज्य के किसान ऑर्गेनिक खाद का इस्तेमाल करते हैं, जैसे गोबर, पत्ते, फूल को सड़ाकर बनाई गई खाद
  • रासायनिक उर्वरक और रासायनिक कीटनाशक का इस्तेमाल बंद
  • 2003 में राज्य में ऑर्गेनिक कार्यक्रम की शुरूआत हुई
  • राज्य की खेती को पूरी तरह केमिकल फ्री होने में 13 साल लगे
  • राज्य सरकार की सक्रिय भागीदारी का असर हुआ, पहले कुछ गांव चुने गए और धीरे धीरे पूरा राज्य ऑर्गेनिक हो गया
  • सिक्किम सरकार ने कॉम्पोस्ट खाद बनाने के लिए किसानों को सब्सिडी दी
  • किसानों को बॉयो फर्टिलाइजर के इस्तेमाल का सुझाव दिया गया
  • शुरुआत में कूटू (गेहूं की तरह का अनाज), अदरक, हल्दी, बड़ी इलाइची और आम जैसी 5 फसलें ही ऑर्गेनिक तरीके से उगाई गई। धीरे धीरे दूसरे फसलों को भी इस दायरे में लाया गया
  • सिक्किम को पूरी तरह ऑर्गेनिक बनाने के लिए ऑर्गेनिक मिशन 2010 में लॉन्च किया गया।
  • राज्य सरकार ने सिक्किम ऑर्गेनिक मार्केट नाम से स्पेशल मार्केट खोले। जहां ऑर्गेनिक वैराइटी दूसरी फसलों के मुकाबले 20-25 परसेंट ज्यादा दाम में बेची जाती हैं।Organic Market Sikkim Gangtok
  • सिक्किम सरकार के सामने सबसे बड़ी चुनौती थी ऑर्गेनिक उत्पादों को बाजार से जोड़ना और पॉपुलर बनाना। सामान्य खेती से ऑर्गेनिक खेती की तरफ जाने पर शुरुआती सालों में किसानों की पैदावार में 20 से 50 परसेंट तक की कमी आती है। इससे उपज के दाम सामान्य तरीके से उगाई गई उपज के मुकाबले दोगुने तक हो जाते हैं। ऐसे में यह जरूरी था कि किसानों को महंगी फसल के भी खरीदार मिलें।
  • राज्य सरकारों ने किसानों की मदद के लिए मान्यता प्राप्त एजेंसियों के जरिए जमीन का प्रमाणीकरण कराना शुरू किया। इसमें केंद्र सरकार के ऑर्गेनिक प्रोडक्शन के नेशनल प्रोग्राम की गाइडलाइंस के मुताबिक स्टैंडर्ड तय किए गए।
  • राष्ट्रीय स्टैंडर्ड के मुताबिक किसी भी खेत को पूरी तरह ऑर्गेनिक बनने में तीन साल का वक्त लगता है। प्रमाणीकरण देने वाली एजेंसी ने सालाना एक बार जमीन का निरीक्षण करती है।
  • तीन साल में खेत की मिट्टी बिना किसी ट्रीटमेंट के जरिए अपने आप ऑर्गेनिक में बदल जाती है। लेकिन अगर इस दौरान खेत में कैमिकल के इस्तेमाल के सबूत मिले तो ऑर्गेनिक सर्टिफिकेट के लिए फिर तीन साल इंतजार करना होता है।
  • सिक्किम के कानून के मुताबिक राज्य की जमीन पर कैमिकल फर्टिलाइजर या कीटनाशक का इस्तेमाल करने या स्टोरेज करने पर एक लाख रुपए जुर्माना और तीन माह तक की जेल हो सकती है।
  • हालांकि कि सिक्किम को पूरी तरह ऑर्गेनिक राज्य का दर्जा मिल गया है, पर उसे लगातार अलर्ट रहना होगा ताकि उसका ये दर्जा बरकरार रहे।
  • राज्य में ऑर्गेनिक सर्टिफिकेशन का प्रोग्राम जारी रखना पड़ेगा। इससे किसान और खेती की जमीन दोनों पर भरोसा बरकरार रहेगा।
  • एक्सपोर्ट के लिए ऑर्गेनिक प्रोडक्ट की मांग बहुत ज्यादा है। खास तौर पर यूरोप और अमेरिका में जैविक उत्पादों को अच्छे मिलते हैं

दूसरे राज्यों ने भी पहल शुरू की

सिक्किम की सफलता के बाद दूसरे राज्य भी इस दिशा में तेजी से पहल कर रहे हैं। इसमें अरुणाचल प्रदेश काफी तेजी से पूरी तरह ऑर्गेनिक राज्य का दर्जा पाने की दिशा में बढ़ रहा है। इसके अलावा हिमाचल प्रदेश ने भी इस दिशा में बड़ा कार्यक्रम शुरु करने की योजना बनाई है। पांच बार कृषि कर्मणा अवॉर्ड हासिल करने वाले मध्य प्रदेश में भी ऑर्गेनिक खेती को लेकर जागरुकता बढ़ रही है। राज्य कई सालों से कृषि में लगातार 20 परसेंट के आसपास ग्रोथ हासिल कर रहा है। ऐसे में ऑर्गेनिक खेती के लिए मध्यप्रदेश में बहुत संभावनाएं हैं।

सिक्किम और अरुणाचल प्रदेश के बाद ऑर्गेनिक खेती में मध्यप्रदेश, हिमाचल प्रदेश, राजस्थान का नंबर आता है। केरल और मिजोरम में भी धीरे धीरे ऑर्गेनिक खेती को लोकप्रियता मिल रही है। ऐसे में अगर केंद्र सरकार पूरे देश में कोई एकीकृत कार्यक्रम लेकर आती है तो कई और राज्यों को पूरी तरह ऑर्गेनिक बनाया जा सकता है।

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